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ई-स्कूटर बनाने वाली कंपनियों को जारी हुआ ‘कारण बताओ नोटिस’, आग के मामलों पर सरकार लेगी कड़ा एक्शन
केंद्र सरकार ने इलेक्ट्रिक वाहन बनाने वाली उन सभी कंपनियों को नोटिस भेजा है जिनके इलेक्ट्रिक वाहनों में हाल ही के दिनों में आग लगने के मामले सामने आए थे। सरकार ने इन सभी निर्माताओं को कारण बताओ नोटिस सौंपा है और जवाब नहीं देने पर कार्रवाई करने की चेतावनी दी है। परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने ये नोटिस इलेक्ट्रिक वाहन निर्माताओं के सीईओ और एमडी जैसे वरिष्ठ अधिकारियों को भेजा है।
हाल ही में सरकार द्वारा गठित एक कमेटी ने इलेक्ट्रिक वाहनों में आग लगने की जांच रिपोर्ट सौंपी थी, जिसमें इलेक्ट्रिक वाहनों की बैटरी मैनेजमेंट सिस्टम में गड़बड़ी और मानकों के आधार पर गुणवत्ता न होने की बात कही गई थी। सरकार ने जांच कमेटी की रिपोर्ट पर अमल करते हुए एक नया एक्शन प्लान बनाया है जिसके तहत इलेक्ट्रिक वाहनों की गुणवत्ता से समझौता करने वाले निर्माताओं पर दंडात्मक कार्रवाई करने की नीति तैयार की गई है।
कंपनियों पर लगेगा जुर्माना
केंद्रीय परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने गुरुवार को सदन में कहा कि सरकार नियमों की अनदेखी करने वाले ईवी निर्माताओं से सख्ती से पेश आएगी। उन्होंने कहा कि ईवी निर्माताओं से संतोषजनक जवाब न मिलने पर सरकार को मोटर वाहन एक्ट के अंतर्गत कार्रवाई करने का पूरा अधिकार है। केंद्रीय मंत्री ने बताया कि जांच कमेटी ने इलेक्ट्रिक वाहनों की बैटरी स्टैंडर्ड और सुरक्षा में भारी गड़बड़ी का पता लगाया है जो ग्राहकों के लिए काफी चिंताजनक है और उनकी जान को जोखिम में डालने वाला है। ईवी निर्माताओं को नोटिस का विस्तार से जवाब देने के लिए जुलाई अंत तक का समय दिया गया है।
खराब गुणवत्ता के उपकरणों का हो रहा है इस्तेमाल
आपको बता दें, सेंटर फॉर फायर एक्सप्लोसिव एंड एनवायरनमेंट सेफ्टी (CFEES) के विशेषज्ञों की एक टीम ने इलेक्ट्रिक वाहनों में आग लगने के कारणों का पता लगाया है। यह एजेंसी रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) के अंतर्गत काम करती है। जांच कमेटी ने रिपोर्ट में बताया था कि इलेक्ट्रिक स्कूटरों की बैटरी में इस्तेमाल होने वाले सेल के साथ-साथ बैटरी मैनेजमेंट सिस्टम में गड़बड़ी है जिसके चलते बैटरी के अधिक गर्म होने से आग लग रही है।
विशेषज्ञों ने लगभग सभी इलेक्ट्रिक स्कूटरों के बैटरी के साथ-साथ बैटरी डिजाइन में दोष पाया। जांच कमेटी ने यह भी बताया कि इलेक्ट्रिक स्कूटरों में आग इसलिए भी लगे क्योंकि कुछ बड़ी इलेक्ट्रिक स्कूटर कंपनियां अपने उत्पादों की लागत कम करने के लिए निम्न श्रेणी की सामग्री का इस्तेमाल कर रहे हैं।
बैटरियों के लिए प्रदर्शन मानक लागू
भारतीय मानक ब्यूरो (बीआईएस) ने देश में बढ़ते इलेक्ट्रिक वाहनों में आग लगने की घटनाओं के बीच उपभोक्ताओं की सुरक्षा के लिए लिथियम आयन बैटरी के लिए अब नए प्रदर्शन मानक जारी किए हैं।
नई लिथियम बैटरी के मानक के अनुसार अब इलेक्ट्रिक वाहन बनाने वाली कंपनियों को बैटरी की विश्वसनीयता, चार्जिंग क्षमता, अलग-अलग वातावरण और तापमान में काम करने की क्षमता की जांच के लिए बैटरियों का अलग से परीक्षण करना होगा। नए मानकों में लिथियम-आयन बैटरियों के परीक्षण से संबंधित प्रक्रिया को भी सूचित किया गया है।
केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी पहले ही ईवी निर्माताओं को लापरवाही बरतने पर सख्त कार्रवाई की चेतावनी दे चुके हैं। उन्होंने ट्वीट किया, "अगर कोई कंपनी अपनी प्रक्रिया में लापरवाही करती पाई गई तो भारी जुर्माना लगाया जाएगा और सभी खराब वाहनों को वापस बुलाने का भी आदेश दिया जाएगा।"