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दिल्ली में इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री राष्ट्रीय औसत से 6 गुना अधिक, ईवी नीति ने कारण बिक्री बढ़ी
दिल्ली में इलेक्ट्रिक वाहनों की मांग तेजी से बढ़ रही है। यही वजह है कि दिल्ली में इस साल सितंबर से नवंबर के बीच कुल वाहनों की बिक्री में हिस्सेदारी 9 प्रतिशत रही। दिल्ली में इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री 1.6 प्रतिशत के राष्ट्रीय औसत से 6 गुना अधिक है। आंकड़ों को देखें तो, दिल्ली में सितंबर से नवंबर के बीच 9,540 इलेक्ट्रिक वाहन बेचे गए।
यही नहीं, इलेक्ट्रिक वाहनों ने बिक्री के मामले में डीजल और सीएनजी वाहनों को भी पीछे छोड़ दिया है। इसी तिमाही के दौरान दिल्ली में 7,820 डीजल वाहन और 2,688 सीएनजी वाहन बेचे गए। इस दौरान दिल्ली में पेट्रोल वाहनों की बिक्री 82,626 यूनिट रही।
बता दें कि दिल्ली में इलेक्ट्रिक वाहन नीति के लागू होने के बाद ई-वाहनों की मांग में तेजी आई है। दिल्ली सरकार की इलेक्ट्रिक वाहन नीति की वजह से इलेक्ट्रिक वाहन की खरीद पर ग्राहक भारी बचत कर रहे हैं। दिल्ली देश का पहला ऐसा शहर है जहां इलेक्ट्रिक वाहन की खरीद पर रजिस्ट्रेशन और रोड टैक्स पर पूरी तरह छूट दी जा रही है।
दिल्ली सरकार ने 2025 तक शहर में 25 फीसदी इलेक्ट्रिक वाहनों की हिस्सेदारी का लक्ष्य रखा है। दिल्ली सरकार ने पिछले दो सालों में शहर में 201 चार्जिंग स्टेशन और 380 ई-वाहन चार्जिंग स्टेशन का निर्माण करवाया है, जो राष्ट्रीय स्तर पर किसी भी शहर के मुकाबले अधिक है। इसके अलावा दिल्ली में 2022 के मध्य तक 600 और चार्जिंग स्टेशन लगाने की योजना है।
बता दें कि इलेक्ट्रिक वाहनों पर बैटरी क्षमता के अनुसार सब्सिडी तय की गई है। योजना के तहत 1,000 इलेक्ट्रिक कारों पर 10,000 रुपये प्रति किलोवाटऑवर (kWh) की दर से सब्सिडी तय की गई है। दिल्ली में एक इलेक्ट्रिक कार पर अधिकतम 1.50 लाख रुपये की सब्सिडी का फायदा उठाया जा सकता है। वहीं, दोपहिया, तीनपहिया, फ्रीट और कूरियर इलेक्ट्रिक वाहनों पर अधिकतम 30,000 रुपये की सब्सिडी दी जा रही है।
दिल्ली में ऑनस्पॉट पाएं RC
दिल्ली में अब गाड़ी खरीदने वालों को रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट (आरसी) के लिए लंबा इंतजार नहीं करना होगा और न ही आरटीओ के चक्कर लगाने होंगे। दिल्ली में वाहन डीलर अब अपने ग्राहकों को हाथों- हाथ गाड़ी का रजिस्ट्रेशन नंबर दे रहे हैं। दिल्ली में वाहन डीलरों ने ऑन-स्पॉट रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट मुहैया कराने की सुविधा शुरू की है।
वाहन की आरसी के लिए लोगों को आरटीओ आना पड़ता था और इस प्रक्रिया में कई दिन लग जाते थे। लेकिन अब नए सिस्टम के तहत गाड़ी खरीदने वालों को वाहन डीलर तुरंत आरसी सौप रहे हैं।
लर्नर लाइसेंस की वैद्यता बढ़ी
दिल्ली सरकार ने फरवरी 2020 और नवंबर 2021 के बीच समाप्त होने वाले लर्नर लाइसेंस की वैधता को 31 जनवरी, 2022 तक बढ़ा दिया है। कोविड-19 महामारी और ड्राइविंग टेस्ट के लिए स्लॉट पाने में लोगों को होने वाली कठिनाइयों को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है। दिल्ली परिवहन विभाग ने अपने आदेश में विभिन्न आरटीओ कार्यालयों और फिटनेस सेंटरों पर भारी भीड़ बढ़ने पर चिंता व्यक्त की थी, इसे आवेदकों और सार्वजनिक सेवा कर्मचारियों दोनों के लिए सुरक्षा चिंता का विषय बताया था।
बता दें कि दिल्ली परिवहन विभाग ने 7 अगस्त से सभी आरटीओ (RTO) में फसलेस सेवा शुरू की है। विभाग ने कुल 33 सेवाओं को ऑनलाइन किया है। इनमें लर्नर लाइसेंस के लिए आवेदन, डुप्लीकेट ड्राइविंग लाइसेंस, पते में परिवर्तन, रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट, एनओसी, परमिट समेत अन्य सेवाओं के लिए फसलेस (ऑनलाइन) आवेदन लिया जा रहा है।
फेसलेस सेवा की शुरूआत के बाद, अब ड्राइविंग लाइसेंस आवेदक को केवल स्थायी ड्राइविंग लाइसेंस और फिटनेस टेस्ट प्रमाणपत्र प्राप्त करने के लिए ही परिवहन विभाग के कार्यालय का दौरा करना होगा।