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छात्रों ने कबाड़ से बनाई हवा साफ करने वाली इलेक्ट्रिक कार, जानिए कैसे करती है काम
मौजूदा समय में कई देश वाहनों से होने वाले प्रदूषण से परेशान हैं। आमतौर पर दिल्ली के लोग वाहन से होने वाले प्रदूषण से परेशान रहते हैं। इसी समस्या से उबरने के लिए नीदरलैंड की आइंडहोवन यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्नोलॉजी के छात्रों की टीम ने एक अनोखी कार बनाई है।
छात्रों का दावा है कि यह जहां से गुजरती है वहां के कार्बन को सोख लेती है यानि चलने पर इस कार से प्रदूषण नहीं होता बल्कि ये कार खुद प्रदूषण को खास तरीके से कम करती है। कार को जेम (ZEM) नाम दिया गया है। इसे ये नाम इसलिए दिया गया है क्योंकि ये जीरो इमिशन मोबिलिटी वाहन है।
इसे कबाड़ से जोड़कर बनाया गया है। इस कार में क्लीनट्रॉम लिथियम आयन बैटरी का उपयोग किया गया है और इसके ज्यादातर पार्ट्स 3डी प्रिटेंड हैं। इस कॉन्सेप्ट ईवी में 22 किलोवॉट की मोटर लगाई गई है तथा मैक्सिमम एफिशियंसी प्राप्त करने के लिए रिजनरेटिव ब्रेकिंग का उपयोग किया गया है।
इसके साथ ही इस कार में दो फिल्टर भी लगाए गए हैं जो 20 हजार मील की ड्राइविंग के दौरान दो किलोग्राम कार्बन डाई ऑक्साइड को सोखने की क्षमता रखते हैं। इस कार को जहां पर भी चलाया जाता है वहां अपने आस-पास की हवा से कार्बन को सोख लेती है।
जब कार को बनाने में खास तरीके का उपयोग किया गया है तो जाहिर है कार का डिजाइन भी अलग होगा। कार का लुक भी सुपर कार बीएमडब्ल्यू कूपे जैसा लगता है। छात्रों ने अभी इसका पेटेंट नहीं करवाया है और वो उम्मीद कर रहे हैं कि बड़ी कार बनाने वाली कंपनियां इस कार से प्रेरणा लें और ऐसी कार बनाएं जो भविष्य में और बेहतर तरीके से काम कर पाए।
इस प्रोटोटाइप कार को बनाने वाली 35 छात्रों की टीम इसे 'डायरेक्ट एयर कैप्चर टेक्नोलॉजी' कहती है। इस इलेक्ट्रिक कार में हूड और रूफ में सोलर पैनल भी इंटीग्रेट किए गए हैं, ताकि सौर ऊर्जा का भी उपयोग किया जा सके।
ड्राइवस्पार्क के विचार
हवा को साफ करने वाली इस कार की टेक्नोलॉजी बहुत ही अच्छी है। दुनिया में वाहन से बढ़ रहे प्रदूषण को देखते हुए इस तरह की कार बहुत उपयोगी होगी, जो वातावरण को प्रदूषित करने की बजाय उसे शुध्द करने में सहायक होगी।