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Concerns Over Vehicle Safety Standards: सरकार ने कार कंपनियों को क्वालिटी सुधारने की दी नसीहत
देश में बनाए जा रहे खराब क्वालिटी की कारों से संबंधित एक रिपोर्ट में सरकार ने चिंता व्यक्त करते हुए उन्हें 'अनुचित' बताया है और वाहन कंपनियों को उचित सुरक्षा मानकों को अपनाने की अपील की है। भारतीय ऑटोमोबाइल संघ (SIAM) द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में सड़क एवं परिवहन मंत्रालय के सचिव गिरधर अरमाने ने कंपनियों से उचित निर्माण गुणवत्ता को अपनाने की अपील की।
उन्होंने बताया कि मानक से कम सुरक्षा गुणवत्ता वाली कारें दुर्घटना के समय यात्रियों की सुरक्षा करने में नाकाम साबित होती हैं, इसलिए देश में दिनों दिन सड़क दुर्घटनाओं में मरने वालों की संख्या बढ़ रही है। उन्होंने बताया कि वाहन कंपनियन केवल अपने प्रीमियम और महंगी कारों में ही सुरक्षा मानकों का पालन करती हैं।
उन्होंने बताया कि देश में केवल कुछ कार कंपनियां हैं जो अपनी सभी कारों का निर्माण सुरक्षा मानकों के अनुसार करती हैं। उन्होने कहा कि वे भारत में कार कंपनियों द्वारा सुरक्षा मानकों की अनदेखी से हैरान हैं। उन्होंने कंपनियों पर आरोप लगाते हुए कहा कि कंपनियां जानबूझकर कारों की क्वालिटी कम करती हैं ताकि ज्यादा मुनाफा कमाया जा सके।
सचिव ने कहा, "कार कंपनियां सड़क सुरक्षा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। वाहन निर्माताओं को अपने वाहन को सुरक्षित बनाने में कोई कसर नहीं छोड़नी चाहिए लेकिन यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि कंपनियां सुनियोजित तरीके से अपनी कारों की क्वालिटी ख़राब कर रही है और इसकी जानकारी ग्राहकों को नहीं होती।
उन्होंने यह भी कहा कि भारत में बिकने वाली कारों के वही मॉडल जब दूसरे देशों में एक्सपोर्ट किये जाते हैं तो उनकी सेफ्टी रेटिंग भारत में बिक रहे मॉडल से अच्छी होती है। अरमाने ने पिछले कुछ वर्षों में ग्लोबल एनकैप द्वारा टेस्ट की गई कुछ भारतीय कारों की खराब क्वालिटी पर सवाल उठाया।
उन्होंने कहा कि एक्सपोर्ट की जाने वाली कारों की क्वालिटी देश में बेचे जाने वाले मॉडलों से बेहतर रखी जाती है। अरमाने ने सवाल उठाते हुए कहा कि यह भारतीय ग्राहकों को धोखा देने जैसा ही है।
अरमाने ने एक अंतरराष्ट्रीय रिपोर्ट के हवाले से कहा कि अमेरिका में साल 2018 में 45 लाख सड़क हादसे हुए जिसमे 36,560 लोगो की मौतें हुई, जबकि भारत में इसी साल 4.5 लाख सड़क हादसे हुए जिसमे 1.5 लाख से अधिक मौतें हुईं थी।
इस रिपोर्ट के तरफ इशारा करते हुए उन्होंने कहा कि भारत में अमेरिका के मुकाबले सड़क हादसे 10 गुणा कम हैं लकिन मरने वालों की संख्या पांच गुणा अधिक है। इसके लिए वाहनों में मिलने वाले खराब सेफ्टी फीचर्स भी जिम्मेदार हैं।