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Construction Vehicles Need No Registration: सड़क निर्माण वाहनों को पंजीकरण की जरुरत नहीं, जानें
सड़क निर्माण कार्य में तेजी लाने और किफायती बनाने के लिए, सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने राज्यों से अनुरोध किया है कि वे निर्माण उपकरण के लिए पंजीकरण और ड्राइविंग लाइसेंस की मांग न करें। मंत्रालय ने बताया है कि खनन और सड़क-निर्माण स्थलों पर लगने वाले भारी वाहनों को आम वाहन का दर्जा नहीं दिया जा सकता।
एक आधिकारिक बयान में मंत्रालय ने कहा कि खनन और सड़क-निर्माण में लगे भारी वाहन साधारण वाहन नहीं हैं, इसलिए मोटर वाहन अधिनियम 1989 के तहत इन्हे रजिस्टर नहीं किया जा सकता। मंत्रालय ने सभी राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों को यह सूचना दी है।
मंत्रालय ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से अनुरोध किया है कि वे इस तरह के मामलों के लिए पंजीकरण और ड्राइविंग लाइसेंस पर जोर न दें। सड़क मंत्रालय ने इस मुद्दे पर एक परामर्श जारी किया और इसे राज्यों और स्थानीय अधिकारियों को अंतिम रूप देने के लिए कहा है।
यह कदम मंत्रालय द्वारा सड़क निर्माण और पुनर्वास उपकरण उपयोगकर्ताओं से प्रतिनिधित्व प्राप्त करने के बाद आया है। उन्होंने कहा कि सड़क निर्माण में मिलिंग मशीनों का उपयोग किया जाता है जो सड़क बनाने में लगने वाली सामग्री, जैसे बिटुमिन को रीसायकल करते हैं जिससे विदेशी मुद्रा को बचाने में मदद मिलती है।
मशीनों को ट्रेलरों का उपयोग करके निर्माण स्थल पर ले जाया जाता है और जहां वे केवल 5-10 किलोमीटर तक चलते हैं। इसके अलावा, खनन और सड़क-निर्माण उपकरण निर्माताओं ने कहा कि डंपर, पेलोडर, फावड़े, ड्रिल मास्टर, बुलडोजर और रॉक ब्रेकर को "सड़क से दूर" वाहनों के रूप में वर्गीकृत किया गया है और केवल "खानों की सीमा" के भीतर ही उपयोग किया जाता है।
मंत्रालय ने सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के परिवहन विभागों को संबोधित एक पत्र में बताया कि उसे सड़क निर्माण और पुनर्वास उपकरणों के संबंध में कई प्रतिनिधित्व मिले हैं, जहां उन्होंने केंद्रीय मोटर वाहन नियमों के तहत सड़क निर्माण और पुनर्वास उपकरणों को लेकर चिंता जताई थी।
मंत्रालय ने कहा कि ऐसे वाहनों की लिए अलग से परमिट निर्धारित किया गया है जहां इन्हे निजी या व्यवसायिक उपयोग के लिए पंजीकृत किया जाता है। केंद्र ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से इस मसले पर अपनी राय मांगी है।